बीआईटी मेसरा कॉलेज की छात्रा पर हमला

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कुछ स्थानीय लोगों के विरोध के कारण चारदीवारी का काम नहीं हो पा रहा : कुलपति इंद्र नील मन्ना

MUSTFA

मेसरा: राजधानी रांची के बीआईटी मेसरा ओपी अंतर्गत स्थित बीआईटी मेसरा इंजिनियरिंग कॉलेज में गुरुवार को विद्यार्थियों ने विरोध प्रदर्शन किया। विद्यार्थी मुख्य प्रशासनिक भवन के आगे वी-वांट जस्टिस के नारे लगा रहे थे। बाद में बीआईटी मेसरा के कुलपति इंद्र नील मन्ना ने सारे विरोध करने वाले विद्यार्थियों को हॉल में बुलाकर वार्ता की। जिसमें विद्यार्थियों ने अपनी सुरक्षा से संबंधित मांगों को रखा। जिसमें मुख्य रूप से हॉस्टल नंबर-9 आरएस हॉस्टल में सुरक्षा देने,लड़कियों का हॉस्टल को बदल कर दूसरे हॉस्टल में रखने,नशे की हालत में रहने वाले सुरक्षा गार्ड व वाहन का ड्राइवर पर कारवाई,स्ट्रीट लाइट ठीक कराने व लड़कियों वाले हॉस्टल के आगे सड़क में सीसी टीवी कैमरा लगवाने संबंधी मांगें रखी। इन सारी बातों को गंभीरता से सुनने के बाद कुलपति ने विद्यार्थियों को आश्वस्त किया की लड़कियों के सुरक्षा से कोई समझौता नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि लगभग छह सौ एकड़ में फैले संस्थान में चारदीवारी नहीं है। जिसके चलते हम विवश हैं। उन्होंने कहा कि चार दिवारी बनवाने को लेकर सारी प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। महामहीम राज्यपाल से लेकर मुख्य मंत्री तक व मुख्य सचिव से लेकर पुलिस के अधिकारियों तक लिखित सूचना दी गई है। ताकि चार दिवारी हो सके। उन्होंने कहा कि लगभग पांच हजार विद्यार्थियों का दायित्व कुलपति पर है। उन्होंने कहा कि मुख्य स्थानों पर लगभग छह सौ सीसी टीवी लगाए गए हैं। उन्होंने विद्यार्थियों के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि सुरक्षा के मापदंडों को हर हाल में प्राथमिकता दी जाएगी। पहले भी सुरक्षा गार्डों पर कारवाई हुई है। जांच में गलत पाए जाने वाले गार्डों पर कारवाई होगी। उन्होंने कहा कि सभी स्ट्रीट लाइटों को ठीक करवा दिया गया है।
पत्रकारों को संस्थान में आने से रोका गया: समाचार संकलन को लेकर आने वाले पत्रकारों को मुख्य गेट पर सुरक्षा गार्डों ने रोक दिया। जिसके कारण पत्रकार वापस चले गए।
संस्थान में चार दिवारी जरूरी है: बीआईटी मेसरा के कुलपति इंद्र नील मन्ना ने कहा कि संस्थान की छह सौ से ज्यादा एकड़ जमीन अपनी है। सभी जमीनों का अद्यतन लगान रसीद भी कट रहा है। जमीन से संबंधित सारे कागजात हमारे पास है। चारदीवारी की प्रक्रिया भी पूरी कर चुके है। कॉन्ट्रेक्टर को भी ठेका दिया जा चुका है। परंतु कुछ स्थानीय लोगों के विरोध के कारण चारदीवारी का काम नहीं हो पा रहा है। उन्होंने अपनी विवशता को बताते हुए कहा कि लगभग पांच हजार विद्यार्थियों की सुरक्षा का दायित्व हमारे पास है,मैं बहुत चिंतित हूँ।

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