Eksandeshlive Desk
रांची : रांची हरमू ईदगाह में ईद नमाज से पूर्व इमामे ईदेन हजरत मौलाना डॉक्टर असगर मिस्बाही अपने संदेश में कहा कि ईद मुसलमान का सबसे बड़ा त्यौहार है। ईद खुशियों और मुसर्रतो का त्यौहार है। रमजान उल मुबारक में मुसलमानो ने जो रोजे रखें, तरावी पढ़ी और अच्छे काम किया उन सब का बदला ईद के दिन अल्लाह पाक देते हैं। ईद मिलने और मिलाने का दिन है। गिले शिकवे दूर करने का दिन है?। मौलाना ने कहा के मुसलमानो को चाहिए के वह अल्लाह और रसूल की बात मान कर गुनाहों से बचने की कोशिश करें। कुरान की तिलावत करें और उस पर अमल करने की कोशिश करें।
नशाखोरी इस्लाम में बहुत बड़ा गुनाह लानत है। इस्लाम में शराब, अफीम, ड्रग्स, ब्राउन शुगर, और चरस आदि हराम है। मुसलमानो को चाहिए कि इससे दूर रहे। बल्कि इसके खिलाफ जागरूकता चलाने चाहिए। पुलिस प्रशासन और सरकार के जिम्मेदार जो नशा को रोकने के लिए काम कर रहे हैं हमें उसका साथ देना चाहिए। शादी ब्याह के मौके पर लड़की वालों से जहेज और पैसे का मांग करना हराम है। नौजवानों को चाहिए के इसके खिलाफ भी जागरूकता चलाएं। और शादी विवाह को आसान बनाने की कोशिश करें। मौलाना ने आगे कहा की यूसीसी को लागू करने की कोशिश की जा रही है जो किसी भी तरह से सही नही है। संविधान में तमाम शहरियों को अपने-अपने मजहब पर अमल करने की आजादी दी है। अगर इस तरह का कानून बनाया गया तो यह संविधान के खिलाफ है। अभी इलेक्शन का माहौल है, लोकतंत्र के इस महापर्व में हर कोई शामिल हो और अपना वोट 100% जरूर करें। आखिर में मौलाना असगर मिस्बाही ने देश दुनिया और झारखंड राज्य की खुशहाली अमन व सलामती आपसी भाईचारे की दुआ की।