इजराइल गाजा में संघर्ष विराम प्रस्ताव पर सहमत, सुरक्षा कैबिनेट की बैठक में 24 मंत्रियों की हां, 8 की ना

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Eksandeshlive Desk

यरुशलम : इजराइल आखिरकार गाजा में संघर्ष विराम पर सहमत हो गया। अमेरिका, मिस्र और कतर की मध्यस्थता से तैयार संघर्ष विराम प्रस्ताव पर यहां इजराइल सुरक्षा कैबिनेट की बैठक शुक्रवार शाम शुरू हुई। यह बैठक शनिवार सुबह खत्म हुई। 24 मंत्रियों ने इसके पक्ष और आठ ने विरोध में मतदान किया। इसके बाद प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय ने कहा कि यह रविवार से लागू होगा। द टाइम्स ऑफ इजराइल की खबर के अनुसार, प्रधानमंत्री कार्यालय ने संक्षिप्त बयान में पुष्टि की कि सरकार ने सात घंटे से अधिक समय तक चली बैठक के बाद समझौते को मंजूरी दे दी। हिब्रू मीडिया आउटलेट्स ने बताया कि 24 मंत्रियों ने इसके पक्ष में और आठ ने विरोध किया। चैनल-12 ने इजराइल डिफेंस फोर्सेज (आईडीएफ) के चीफ ऑफ स्टाफ हर्जी हलेवी के हवाले से कहा, “आईडीएफ जानता है कि जरूरत पड़ने पर भारी ताकत के साथ लड़ाई में कैसे लौटना है।”

समझौते के पहले चरण में इजराइल और हमास को दूसरे चरण की शर्तों के संबंध में बातचीत करनी है। इस दौरान शेष जीवित बंधकों को रिहा किया जाएगा। मध्यस्थ यह सुनिश्चित करेंगे कि दूसरे चरण पर कोई समझौता होने तक दोनों पक्ष बातचीत की मेज पर बने रहें। शुक्रवार शाम सार्वजनिक प्रसारक के सर्वेक्षण से पता चला कि अधिकांश इजराइली जनता बंधक समझौते को दूसरे चरण में जारी रखने का समर्थन करती है। सर्वेक्षण के अनुसार, पचपन प्रतिशत जनता चाहती है कि समझौता जारी रहना चाहिए। 27 प्रतिशत जनता का मानना ​​है कि युद्ध पहले चरण के बाद फिर शुरू होना चाहिए। 18 प्रतिशत ने कोई राय नहीं दी।नेतन्याहू ने पहले हमास की सैन्य क्षमता के नष्ट होने तक युद्ध जारी रखने की प्रतिज्ञा की थी। उन्होंने अपने धुर दक्षिणपंथी गठबंधन सहयोगियों को संकेत दिया है कि वह पहले चरण के बाद भी ऐसा करने की योजना बना रहे हैं। प्रधानमंत्री कार्यालय के बयान में कहा गया है कि यह समझौता रविवार को तीन इजराइली महिला बंधकों की रिहाई के साथ प्रभावी होगा। कुल 33 बंधकों को मुक्त किया जाना है।

समझौते के खिलाफ मतदान करने वाले मंत्रियों में डेविड एम्सलेम और अमीचाई चिकली शामिल हैं। दोनों प्रधानमंत्री नेतन्याहू की लिकुड पार्टी के सदस्य हैं। लिकुड पार्टी के एक अन्य सदस्य संचारमंत्री श्लोमी करही बैठक में हिस्सा लेने नहीं पहुंचे। राष्ट्रीय सुरक्षा मंत्री इतामर बेन ग्विर के साथ उनकी अल्ट्रानेशनलिस्ट ओत्जमा येहुदित पार्टी के कैबिनेट सदस्य यित्जाक वासेरलाउफ और अमीचाई एलियाहू ने भी विरोध में मतदान किया। वित्तमंत्री बेजेलेल स्मोट्रिच और उनकी धुर दक्षिणपंथी धार्मिक जायोनीवाद पार्टी के ओरिट स्ट्रॉक और ओफर सोफर ने भी संघर्ष विराम समझौते का विरोध किया। ओत्जमा येहुदित ने गठबंधन छोड़ने की धमकी दी है। मतदान के बाद न्याय मंत्रालय ने संघर्ष विराम समझौते के पहले चरण के दौरान रिहा किए जाने वाले 735 फिलिस्तीनी बंदियों और सुरक्षा कैदियों की हिब्रू में सूची प्रकाशित की। इस सूची में हत्या के लिए आजीवन कारावास की सजा काट रहे कई आतंकवादी शामिल हैं। इस सूची में कुख्यात फतह आतंकवादी जकारिया जुबैदी का नाम भी है। ऑनलाइन प्रकाशित सूची में कहा गया है कि जुबैदी को विदेश नहीं भेजा जाएगा मगर उसे उत्तरी वेस्ट बैंक शहर जेनिन में घर लौटने की इजाजत मिलेगी।

न्याय मंत्रालय के बयान में इस बात पर जोर दिया गया है कि रिहा होने वाले 95 कैदियों के पहले बैच को रविवार शाम चार बजे से पहले रिहा नहीं किया जाएगा। उम्मीद है कि हमास शनिवार को रिहा होने वाले पहले तीन इजराइलियों के नाम उपलब्ध कराएगा। समझौते में कहा गया है कि आतंकवादी समूह हमास को इजराइल को उन बंदियों के नाम देने होंगे जिन्हें वह 24 घंटे पहले रिहा करेगा। गाजा में युद्ध तब शुरू हुआ था जब हमास के आतंकवादियों ने दक्षिणी इजराइल पर हमला किया। सात अक्टूबर, 2023 को हमले के दौरान हमास ने 1,200 से अधिक लोगों की हत्या कर दी। 251 लोगों को बंधक बनाकर अपहरण कर लिया। नवंबर 2023 में एक सप्ताह के अस्थायी संघर्ष विराम के दौरान, 105 बंधकों को रिहा कर दिया गया, जबकि चार को पहले मुक्त कर दिया गया था और आठ को जीवित बचाया गया है।

हिब्रू मीडिया आउटलेट्स के अनुसार, कैबिनेट बैठक में नेतन्याहू ने मंत्रियों से कहा कि अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प समझौते का उल्लंघन होने पर इजराइल को युद्ध को फिर से शुरू करने के लिए पूर्ण समर्थन देंगे। मोसाद प्रमुख डेविड बार्निया और शिन बेट प्रमुख रोनेन बार ने कतर में इस संघर्ष विराम समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। दोनों ने कतर से लौटने के बाद इस बैठक में हिस्सा लिया और मंत्रियों को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि समझौते का समर्थन करना उनके लिए नैतिक अनिवार्यता है। दोनों ने जोर देकर कहा कि इजराइल को अपनी सुरक्षा कैसे करनी है, इसके लिए वह पूरी तरह तैयार हैं।