Eksandeshlive Desk
मोतिहारी : भूकंप वैज्ञानिक उमेश वर्मा ने 10 दिनों के अंदर विभिन्न भागों में आने वाले भूकंप को लेेकर बताया कि अगले 10 दिन के लिए पृथ्वी के अंदर प्रतिबल बढ़ गया है। यह स्ट्रेस मध्यम आकार के भूकंप के लिए ग्लोबल एक्टिविटी दिखलाएगा। वैसे क्षेत्रीय डाटा के मुताबिक यह अमेरिका क्षेत्र में और एशियाई क्षेत्र में भी काफी बढ़ चुका है। उत्तर पूर्व भारत और बांग्लादेश बॉर्डर पर 5-6 एम खास करके असम अभी बहुत संवेदनशील है और वहा बड़ा भूकंप आने की संभावना है।
वर्मा ने बताया कि 16-17-18 मार्च को उत्तर पूर्व भारत एवं पूर्वोत्तर भारत में 6.3 एम के बराबर एवं अमेरिका और इंडोनेशियन में 6.5 से 7 तक एम का भूकंप आने की पूरी संभावना है। भारतीय क्षेत्र खासकर के उत्तर पूर्व भारत और उत्तर पश्चिम भारत काफी संवेदनशील हो गया है, जहां 7 एम के भूकंप आने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है। गौरतलब है कि विगत 20 वर्षो से वर्मा नई विधि से भूकंप की भविष्यवाणी करते आ रहे हैं, जिनमें 80 % भविष्यवाणी सफल रहे हैं। वर्मा ने बताया कि भूकंप कस पूर्वानुमान इसलिए जारी किया जाता है ताकि जान का अधिक नुकसान नहीं हो। उन्होंने यह भी कहा कि प्रत्येक 100 वर्ष पर पृथ्वी का चक्र घूम जाता है और भूकंप रिपीट होता है। 1934 में धरती पर विनाशक भूकंप आया था और 1934 के पूर्व इस तरह के छोटे-बड़े भूकंप आ रहे थे। ठीक वही स्थिति बनती जा रही है। 2034 में बड़ा भूकंप आ सकता है जो विश्व परिवर्तन का वाहक हो सकता है।