Eksandeshlive Desk
नई दिल्ली : सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने ऑपरेशन ‘सिंदूर’ के दौरान पाकिस्तान के हमलों को नाकाम करने वाले बहादुर सैनिकों का हौसला बढ़ाया। उन्होंने गुरुवार को पंजाब के ऊंची बस्सी और पठानकोट एयर बेस पर सैनिकों से बातचीत की। जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने डैगर डिवीजन, चिनार कोर के अग्रिम स्थानों का दौरा किया और भारतीय वायु सेना और बीएसएफ के सैनिकों से बातचीत करके उनके दृढ़ संकल्प को सराहा। पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद के खिलाफ भारत के ऑपरेशन ‘सिंदूर’ के स्थगित होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 13 मई को वायु सेना के आदमपुर एयरबेस पर पहुंचकर वायु सैनिकों की हौसलाफजाई की थी। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह गुरुवार को श्रीनगर के बादामी बाग कैंट में भारतीय सेना के बहादुर सैनिकों के प्रति आभार जताने पहुंचे। उन्होंने सैनिकों को संबोधित करते हुए कहा कि मैं आपकी उस ऊर्जा को महसूस करने आया हूं, जिसने दुश्मनों को नेस्तनाबूद कर दिया।
इसी क्रम में सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने पंजाब के ऊंची बस्सी और पठानकोट एयर बेस पर बहादुर सैनिकों से बातचीत की। सैनिकों से बातचीत करते हुए उन्होंने राइजिंग स्टार कोर, आर्मी एयर डिफेंस (एएडी), डिफेंस सिक्योरिटी कोर (डीएससी) और डिफेंस सिविलियन एम्प्लॉइज के सैनिकों की भूमिका को सराहा, जिन्होंने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान गैरीसन और एयर बेस की सुरक्षा की। उन्होंने भारतीय वायु सेना और बीएसएफ के सैनिकों से भी बातचीत की। उन्होंने सैनिकों के उस दृढ़ संकल्प की सराहना की, जिसने दोनों प्रतिष्ठानों के भीतर महत्वपूर्ण संपत्तियों को निशाना बनाने के दुश्मन के कई प्रयासों को सफलतापूर्वक विफल कर दिया। सेना प्रमुख ने नागरिक प्रशासन को घनिष्ठ सहयोग के लिए धन्यवाद भी दिया। सेना प्रमुख ने कहा कि सेना वायु रक्षा प्रणाली की एल-70 और ज़ू-23 तोपों के पॉइंट एयर डिफेंस गन क्रू की बहादुरी, साहस और निस्वार्थ समर्पण ने पाकिस्तान के हवाई हमलों को प्रभावी ढंग से विफल कर दिया, जिसे हमेशा गर्व के साथ याद किया जाएगा।
जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने डैगर डिवीजन, चिनार कोर के अग्रिम स्थानों का दौरा किया और सभी रैंकों के साथ बातचीत की। सैनिकों को संबोधित करते हुए उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान नियंत्रण रेखा पर नियंत्रण पाने के लिए उनके साहस, जोश और सतर्क कार्रवाई की सराहना की। उन्होंने पीओजेके में आतंकी शिविरों को नष्ट करने में सैनिकों की भूमिका को भी सराहा। उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान जवानों की बहादुरी, जोश और सतर्कता की प्रशंसा की, जिससे नियंत्रण रेखा पर भारत का दबदबा कायम रहा। उन्होंने जवानों को हर चुनौती का निर्णायक और तत्परता से मुकाबला करने के लिए हमेशा तैयार रहने का संदेश दिया।