तालीम के बगैर कोई भी समाज तरक्की नहीं कर सकता : मौलाना अकरम

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Mustafa Ansari

रांची: अल्लाह-तआला ने दुनिया के तमाम मखलूखात में आदमी को अशरफुल मखलूकात का मनसब सरफराज अता किया है। लिहाजा अशरफुल मखलूकात की विशेष जिम्मेवारी बनती है कि मुआशरा को तमाम बुराइयों व खुराफात रस्मों से निजात दिलाते हुए अल्लाह तआला और नबी-ए-करीम के उपदेशों का अक्षरश: पालन सुनिश्चित बनाया जाय। ऐसा नहीं करने वालों पर अल्लाह और रसूल की नाफरमानी मानी जाएगी। उक्त बातें बीआईटी मेसरा थाना क्षेत्र के केदल गांव स्थित अंजुमन कमेटी केदल द्वारा मौलाना समिउल हक के संचालन व जामा मस्जिद केदल के ईमाम व खतिब मौलाना आफताब मजाहिरी के अध्यक्षता में मंगलवार की रात को आयोजित एक दीनी जलसा सीरतुन्नबी इस्लाहे मुआशरा व पयामे इंसानियत को कोडरमा से आए मौलाना अकरम कासमी ने अपने तकरीर के दौरान इजहार फरमाया।

मौलाना ने समाज में फैली बुराईयों,बेटियों को दहेज के लालची दानवों की कु-कृत्यों का जमकर विरोध जताते हुए कहा कि इस मनहूस प्रथा को समाप्त कर बेटियों को उच्च स्थान दिलाने में सामाजिक वातावरण को इसके लिए तैयार करना वक्त की अहम जरूरत है। नौजवानों में बढ़ते अपराध प्रवृति,नशा खोरी,शराब खोरी और गलत संगत में पड़ कर अपने हंसती खेलती जिदगी को बर्बादी के रास्ता पर ले जाने से परहेज की तल्कीन पेश की। मौलाना ने इल्म हासिल करने पर खास जोर देते हुए कहा की तालीम के बगैर कोई भी समाज तरक्की का रास्ता नहीं देख पाता है। और बिना तालीम के आदमी कुछ नहीं कर सकता है।

इस दौरान मदरसे के बच्चों ने एक से बढ़कर एक नातिया कलाम व तकरीरे पेश की,जहां बच्चों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया। इससे पूर्व जलसा कार्यक्रम का आगाज कारी इस्लाम शाहब ने तिलावत ए कुरान से की। मौके पर अंजुमन सह आयोजन कमेटी केदल के सदर मो० रूसतम अंसारी,सेक्रेट्री समीम आलम,खजांची रेयाज अंसारी,मशहूर शायर मुमताज आतिफ,हाजी महबूब आलम,हाजी शफीरूद्दीन अंसारी,हाफीज तौफीक,अतहर इमाम,हाफिज शिबली कमर,मुखिया राहुल मुंडा,एएसआई जुल्फिकार अली,बहरूद्दीन अंसारी,मोहन मुंडा,महमुद अंसारी आदि कई मौजूद थे।