Eksandesh Desk
काठमांडू: काठमांडू के आचार्य महाश्रमण सभागार में समणी डॉ० ज्योति प्रज्ञाजी, डॉ० मानसप्रज्ञाजी के सानिध्य में आचार्य श्री महाश्रमण जी का जन्मोत्सव,पट्टोत्सव और 51 वें दीक्षा महोत्सव का आयोजन किया गया। ज्ञानशाला के बच्चों देशना, परी और चेतना ने महाश्रमण अष्टकम नृत्य के द्वारा कार्यक्रम का शुभारंभ किया। श्री जैन श्वेताम्बर तेरापंथ सभा, काठमांडू के अध्यक्ष महावीरजी संचेती ने सभी का स्वागत किया। नेपाल स्तरीय जैन तेरापंथ सभा के अध्यक्ष श्री दिनेशजी नौलखा, तेरापंथ महिला मंडल की अध्यक्षा निशा जैन, तेरापंथ युवक परिषद के अध्यक्ष राकेशजी बाफना, गायक कैलाशजी नौलखा, राजस्थान के सुप्रसिद्ध गायक मास्टर नानू, बर्फानी बाबा वनरोत्तम रंगा ने गुरुदेव के प्रति भावाभिव्यक्ति दी। समणी डॉ ज्योतिप्रज्ञा जी ने कहा कि आचार्यश्री महाश्रमण जी ने तेरापंथ संघ के पूर्वाचार्यों द्वारा खींची गयी लकीरों को लंबा किया है। उनकी समता, क्षमता, वत्सलता, करुणा, निस्पृहता आदि अनुत्तर है। आचार्यवर चिर युवा हैं। युवा वह होता है जो वर्तमान में जीता है तथा सहनशील होता है। सबको इन्होंने विचारों से युवा बने रहने का मंत्र दिया। आचार्य श्री महाश्रमणजी की पुस्तकों को तेरापंथ युवती मंडल, काठमांडू ने महाश्रमण साहित्य ट्रेन डॉ० समणी प्रज्ञाजी द्वारा रचित अकर्षक प्रोग्राम की प्रस्तुति दी। आचार्य प्रवर के संगम के 50 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में पचास तेरापंथ महिला मंडल की बहनों ने सुन्दर गीत प्रस्तुत किया। इस कार्यक्रम के प्रमुख अतिथि नेपाली कांग्रेस के केन्द्रीय सांसद व प्रतिनिधि सभा के सदस्य प्रदीप पौडेल ने गुरुदेव की जीवनचर्या से प्रेरणा लेकर उसे आचरण में लाने की बात कही। तेरापंथ सभा द्वारा भैरू भक्त मंडल परिवार ने प्रमुख अतिथि पौडेल का सम्मान किया। तेरापंथ कन्या मंडल, काठमांडू ने नैतिकता, सद्भावना, नशा मुक्ति पर रोचक नाटिका प्रस्तुत की। परम सुख का पथ पर आधारित क्विज और अप्रैल माह की नारी लोक प्रश्नोतरी विजेता को पुरस्कृत किया गया। ज्ञानशाला के बच्चों और कन्यामंडला की बहनों को भी पुरस्कृत किया गया। समणी डॉ० मानसप्रज्ञाजी ने आचार्य महाश्रमण जी के दशकों की यात्रा को बताते हुए कार्यक्रम का सुंदर संचालन किया। छह दिवसीय संकल्पों की जानकारी सभी को दी गयी। इस विशेष कार्यक्रम में भाई-बहनों की व्यापक उपस्थिति रही।