Eksandeshlive Desk
हजारीबाग : शहर में पिछले कुछ दिनों से लगातार बढ़ती गर्मी से जनता जनार्दन परेशान और ऐसे मौके पर ठंडे पानी की ललक बढ़ जाती है। ऐसे में गले को तर करने के लिए देशी फ्रीज अर्थात मिट्टी के घड़े एवं सुराही की मांग बढ़ जाती है। शहर में इस साल भी जबरदस्त डिमांड बनी हुई है। बाजार में 100 से लेकर 170 रुपया में घड़ा और सुराही बाजारों में बिक रहे है। गरीब या अमीर सभी कोई बीच घड़ा और सुराही पसंद कर रहे है, ठंडे पानी के लिए मिट्टी के मटके और सुराही की मांग बढ़ गई है। सब्जी बाजार सहित सड़कों के किनारे जगह-जगह घड़े और सुराही की दुकानें सजी हैं, लोग खरीद रहे है। फ्रीज, कूलर एवं ए.सी की बिक्री हो या ना हो, लेकिन मिट्टी से बने बर्तनों की बिक्री में अच्छी इजाफा देखने को मिली है। कई घरों के लोग फ्रीज का ठंडा पानी नहीं पीते। उन्हें स्वास्थ्य संबंधी समस्या होती है। ऐसे लोग गर्मी से राहत के लिए मिट्टी के बर्तनों का ही सहारा लेते हैं। इन दिनों अप्रैल महीने में ही सूर्य की तपिश ने आम लोगों का जीना मुस्किल कर दिया है। गर्मी से बचने के लिए लोग हर विकल्प की तलाश में रहते हैं। इन्हीं विकल्पों में से एक मिट्टी का घड़ा और सुराही है। मिट्टी के घड़े का क्रेज यह कि सभी सुविधा रहने वाले व्यक्ति भी घर में फ्रीज रहते हुए भी घड़े के पानी को ज्यादा महत्व देते हैं। सिर्फ इतनी है कि घड़े के पानी से गर्मी में कोई साइड इफेक्ट नहीं होता। ऊपर से सोंधी खुशबू के बीच घड़े का एक गिलास पानी गले को एक अलग ही प्रकार की ठंड का अहसास कराता है।
कुम्हार लोगो का कहना है कि गर्मी बढ़ने के साथ ही घड़े व सुराही की बिक्री में तेजी आ जाती है। शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोग काफी संख्या में घड़े खरीदकर ले जा रहे हैं।100 से लेकर करीब 200 रुपये में घड़ा या सुराही मौजूद हैं, नल वाले घड़े की काफी मांग होती है। इसके अलावा अलग-अलग डिजाइन में उपलब्ध हैं। इनका रेट भी अलग-अलग है।