मर-मिटने पर उतारू ग्रामीण, नहीं बचा है कोई रोजी रोजगार का साधन

360° Ek Sandesh Live

Eksandeshlive Desk

बड़कागांव: बड़कागांव प्रखंड के डाडी कला पंचायत के ग्रामीण इन दिनों त्रिवेणी सैनिक और एनटीपीसी कंपनी के रवैये से बेहद ही खफा है, आपको बता दें की कोल माइनिंग एरिया डाडी कला में अभी पूरा गांव पूरी तरह से विस्थापित हुआ भी नहीं है और कंपनी वहां के शमशान घाट, कब्रिस्तान और छठ घाट को कोयला का ओबी डंप करना शुरू कर दीया है अर्थात वहां के लोगों की सभ्यता और संस्कृति को नष्ट करने पर कंपनी उतारू है ऐसा ग्रामीणों का आरोप है इन बातों को लेकर वहां के लोग काफी नाराज और आक्रोश में है। उनका कहना है हम लोग जब तक यहां से पूरी तरह से विस्थापित नहीं हो जाते है तब तक हम लोगों के सभ्यता संस्कृति पर कंपनी चोट ना पहुंचाये । यहां के नदी, नाले, तालाब, शमशान घाट, कब्रिस्तान और मंदिर, मस्जिद, स्कूल आदी को कंपनी बर्बाद करने पर उतरी है इसे बंद करें। अन्यथा कंपनी जनप्रतिनिधि और सरकार के विरोध में जबरदस्त आंदोलन होगा। वहां के ग्रामीण रोजगार नहीं दिए जाने पर भी त्रिवेणी सैनिक और एनटीपीसी से खफा थे। कई ऐसे ग्रामीण थे जिनकी जमीन का मुआवजा भी नहीं क्लियर हुआ है और कंपनी के द्वारा उनकी रैयती जमीन पर भी ओबी डंप किया जा रहा है। ग्रामीणों का यह भी आरोप था कि कंपनी के अधिकारियों से बात किए जाने पर टालमटोल करते हैं और कंपनी के दलालों के द्वारा मारने पीटने और कानून के शिकंजे में फसाने की धमकी दिलवाते हैं। ग्रामीणों में काफी गुस्सा है, ग्रामीण का कहना था की हमलोगों की रोजी रोटी सब खत्म हो गई है पीने का पानी से लेकर खेत खलियान सब नष्ट हो चुका है अब कंपनी रोजगार भी नहीं देगी तो हम लोग मरने मारने पर तैयार हैं, इससे पहले ग्रामीण कई बार अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों यहां तक की डीसी तक अपनी समस्याओं को लेकर गए महीना तक शांतिपूर्वक धरना प्रदर्शन किया लेकिन कोई निदान नहीं निकला ।ग्रामीणों का कहना था कि कंपनी थेथरलॉजी कर रही है इसलिए हम लोग भी अब अपने अधिकार के लिए अपने जीवन को बचाए रखने के लिए मरने मिटने को तैयार हैं। कंपनी के अधिकारी गद्दारी कर रहे हैं। ग्रामीण जनप्रतिनिधियों से भी खासे नाराज थे उन लोगों ने कहा कोई भी जनप्रतिनीधी आएगा किसी को वोट नहीं देंगे। ग्रामीण मे डुबल महतो परदिप महतो अमित कुमार महतो जब्बार अंसारी, मो सहबाज अंसारी, आलोक कुमार महतो, संलखो देवी, मोहम्मद शफी के गोपाल महतो शामिल थे।