कुमार कुलदीप
टंडवा (चतरा): मगध कोल परियोजना से कोयला ढो रही मोनेट कंपनी कोयलांचल मे विवादो के घेरे मे है। बताया गया कि हर माह 20 से 25 हजार टन कोयला ढोने वाली मोनेट कंपनी कोयला ढूलाई के नियमो को तार तार कर रही है। मगध से मसीलौंग होते कोयला ढोने के दौरान पानी का पटाव शून्य है सोमर गंझू का कहना है कि कोयले की डस्ट ने लोगो को जीना दूभर कर दिया है। कुछ वाहनो मे तिरपाल भी नही देखे गये। हर रोज लगभग दो हजार टन कोयला ढोने वाली मोनेट के डिस्पैच कार्यो से ग्रामीण असंतुष्ट है। हालत यह है कि मगध से पिपरवार रोड मे भी नो इंट्री की मांग लोगो ने उठाना शुरू कर दिया है। इसकी शिकायत सिमरिया एसडीओ और सीओ से की गयी है।