पिछड़ी जातियों के अधिकार को लेकर सिर्फ राजनीति हो रही है : राजेंद्र प्रसाद

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Eksandehlive Desk
रांची : राज्य पिछड़ा वर्ग आयोग के पूर्व सदस्य सह मूलवासी सदान मोर्चा के केंद्रीय अध्यक्ष राजेन्द्र प्रसाद ने कहा कि झारखण्ड सरकार अधिकारियों के ऊपर शक्ति करे तो 1 महीने के अंदर ट्रिपल टेस्ट संभव हो सकता है। उन्होंने बताया कि रघुवर सरकार के कार्यकाल में ही पिछड़ी जातियों की जनसंख्या आंकड़ा संग्रहित करने के लिए सभी जिला को आदेश निर्गत किया गया था। श्री प्रसाद ने बताया कि प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग झारखंड सरकार के पत्रांक 26 दिनांक 2.1.2019 को पिछड़ा वर्गों की जनसंख्या आंकड़ा संग्रहित कर तत्संबंधी प्रतिवेदन विभाग को उपलब्ध कराने के लिए सभी जिला को कहा गया था। उन्होंने बताया कि वे आयोग की ओर से विभिन्न जिलों की बैठकों में उपायुक्तों और जिला अधिकारियों से इस सन्दर्भ में जानकारी मांगी थी। पिछड़ी जातियों की जनसंख्या आंकड़ा संग्रहित संग्रहित करने के लिए प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग द्वारा मांगे गए प्रतिवेदन पर क्या कार्रवाई जिला की ओर से की गई है।
इस पर कुछ उपायुक्तों ने इस बात की पुष्टि की थी कि उन्हें कार्मिक विभाग से चिट्ठी आई है। लेकिन बहुत सारे अधिकारों को इस बात की जानकारी ही नहीं थी। कार्मिक विभाग से ओबीसी का जातीय सर्वेक्षण आंकड़ा संग्रहित कर प्रतिवेदन भेजना है। प्रसाद ने कहा कि इससे पता चलता है पिछड़ी जातियों के अधिकारों को लेकर अधिकारियों में कितना उदासीनता है। उन्होंने कहा कि अधिकारी सरकार के आदेश को कितना गम्भीरता से लेते हैं, इसेस पता चलता है। प्रसाद ने कहा सरकार की नैतिक जिम्मेदारी है कि निकाय चुनाव में ट्रिपल टेस्ट कराकर सर्वोच्च न्यायालय और उच्च न्यायालय का सम्मान करते हुए पिछड़ों को आरक्षण दे।